आईएनएक्स मीडिया भ्रष्टाचार मामले में सीबीआई और न्यायिक हिरासत में आठ सप्ताह बिता चुके पूर्व वित्त मंत्री पी चिदंबरम को प्रवर्तन निदेशालय ने एक संबंधित धनशोधन मामले में तिहाड़ जेल से गिरफ्तार कर लिया । इससे पूर्व वित्त मंत्री को नये सिरे से झटका लगा है । चिदंबरम की गिरफ्तारी के कुछ समय बाद ही प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने विशेष न्यायाधीश अजय कुमार कुहाड़ के समक्ष याचिका दाखिल कर ७४ वर्षीय कांग्रेस नेता से पूछताछ के लिए १४ दिन की हिरासत की मांग की । अदालत ने ईडी के मामले में चिदंबरम के खिलाफ पेशी वारंट जारी करते हुए कहा कि वह रिमांड की अर्जी पर गुरुवार को विचार करेगी, जब सीबीआई द्वारा दर्ज भ्रष्टाचार के मामले में उनकी न्यायिक हिरासत समाप्त हो रही है । अदालत ने जेल अधिकारियों को चिदंबरम को बृहस्पतिवार को अपराह्न ३ बजे पेश करने का निर्देश दिया । इस बीच सीबीआई के सूत्रों ने कहा कि जांच एजेंसी भ्रष्टाचार के मामले में एक आरोपपत्र दाखिल कर सकती है जिसमें चिदंबरम और उनके बेटे कार्ति के नाम आ सकते हैं ।
ईडी के एक अधिकारी ने कहा कि न्यायाधीश कुहाड़ ने एजेंसी को चिदंबरम से जेल में पूछताछ करने और जरूरत पड़ने पर उन्हें गिरफ्तार करने की अनुमति दी जिसके बाद ईडी के जांच दल ने उचित प्रक्रिया का पालन किया । ईडी का तीन सदस्यीय दल सुबह ८ः१५ बजे तिहाड़ जेल पहुंचा और करीब दो घंटे तक परिसर में रहा जिस दौरान उन्होंने चिदंबरम से संक्षिप्त सवाल-जवाब किये और उसके बाद उन्हें गिरफ्तार कर लिया गया । ईडी ने कहा कि धन शोधन रोकथाम कानून (पीएमएलए) के प्रावधानों के तहत गिरफ्तारी की गयी है । कानून के इसी प्रावधान के तहत उनका बयान भी दर्ज किया गया ।
ईडी ने राज्यसभा सदस्य चिदंबरम से इस मामले में पहले कई बार पूछताछ की है लेकिन उसने कभी उन्हें गिरफ्तार नहीं किया । अदालत ने पहले आदेश दिया था कि एजेंसी उन्हें गिरफ्तार करने जैसा कोई कदम नहीं उठाएगी । सूत्रों ने संकेत दिया कि अगर अदालत ईडी को चिदंबरम को हिरासत में लेने की अनुमति दे देती है और उनसे पूरी तरह पूछताछ शुरू हो जाती है तो चिदंबरम का सामना अब कुछ नये सबूतों से कराया जाएगा । मामले में अन्य आरोपियों के बयानों से भी उनका सामना कराया जा सकता है ।
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