मोदी सरकार अपनी दूसरी पारी में कूटनीति के मोर्चे पर मजबूत रुख रखेगी। सरकार ने अपना कार्यकाल शुरू करने से पहले ही कच्चे तेल के मसले पर सख्त फैसला लेने का संकेत दिया है। मोदी सरकार अमरीका के दबाव में नहीं झुकेगी और ईरान से तेल आयात जारी रखने का फैसला ले सकती है। कुछ समय पहले अमरीका के ट्रम्प प्रशासन ने भारत समेत सभी देशों को ईरान से तेल आयात न करने की हिदायत दी थी लेकिन इसके खिलाफ मोदी सरकार ईरान से तेल आयात को लेकर बड़ा फैसला ले सकती है। पिछले दिनों भारत ने आम चुनाव का हवाला देते हुए ईरान के विदेश मंत्री मोहम्मद जवाद जरीफ को तेल आयात के बारे में तत्काल ठोस भरोसा देने से इंकार कर दिया था। भारत ने ईरान से कहा था कि आम चुनाव के बाद हालात की समीक्षा होगी, फिर कोई फैसला होगा। अब मुमकिन है कि ईरान को भारत अपने फैसले के बारे में अगले हफ्ते बताए।