लोकसभा में सोमवार को श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) अशोक कुमार गंगवार ने एक सवाल के जवाब में यह जानकारी दी की, देश में सात ऐसे राज्य हैं जहां सबसे ज्यादा बेरोजगारी दर है। ये राज्य हैं नगालैंड, लक्षद्वीप, अंडमान-निकोबार, गोवा, मणिपुर, केरल, पड्डुचेरी और मिजोरम। नेशनल सैंपल सर्वे (NSS) के पीरियॉडिक लेबर फोर्स सर्वे (PLFS) के अनुसार इन राज्यों में बेरोजगारी दहाई के आंकड़ों में है। सबसे ज्यादा बेरोजगारी दर 21.4% नगालैंड में और सबसे कम दादरा-नगर हवेली में 0.4% है। देश में कुल बेरोजगारी दर 6.1% है।
हालही में, केंद्रीय सांख्यिकी कार्यालय (सीएसओ) ने मोदी सरकार की ताजपोशी के अगले ही दिन बेरोजगारी के आंकड़े जारी किए थे। चुनाव प्रचार के दौरान विपक्ष के दावों को खारिज करती रही सरकार ने भी आखिरकार यह मान लिया कि बेरोजगारी की दर 45 साल के सर्वोच्च स्तर पर है। जारी आंकड़ों के अनुसार वित्त वर्ष 2017-18 के दौरान देश में बेरोजगारी की दर 6.1 फीसदी रही। 14 साल में बेरोजगारी की दर 3.8 फीसदी बढ़ी है। एनएसएस के सर्वे के मुताबिक 2004 में बेरोजगारी दर 2.3 फीसदी थी, जो 2018 में 3.8 फीसदी बढ़कर 6.1 फीसदी हो गई है।
मुख्य सांख्यिकीविद प्रवीण श्रीवास्तव ने रोजगार के मुद्दे पर जोर देकर कहा कि रोजगार के इस नए सर्वेक्षण की पिछले आंकड़े से तुलना नहीं कर सकते। इस सर्वेक्षण में तौर-तरीके पुराने सर्वेक्षण से अलग हैं। इसकी पिछले आंकड़ों से तुलना ठीक नहीं।