प्रदेश में मौसम की हुई जोरदार बारिश के चलेत उपजाऊ जमीन में ८९.०८ फीसदी बुवाई का काम हो चुका है । राज्य में पिछले वर्ष की तुलना में वह २ लाख हेक्टेयर अधिक है । पिछले वर्ष इस अवधि तक करीब ७३.६२ लाख हेक्टर में बुवाई हुई थी जबकि इस वर्ष ७५.५१ लाख से अधिक हेक्टेयर में बुवाई हो चुकी है । इस मानसून के दौरान राज्य के किसानों ने धान की ९७.४० फीसदी बुवाई कर दी ।
बाजरे की १०३ फीसदी, ज्वार की ५९.३४ फीसदी, मक्के की ९३.७७ तथा अन्य अनाज की फसलों की ४३.८७ फीसदी बुवाई हो चुकी है । राज्य में १२६८१६० हेक्टेयर में अनाज की फसलों की बुवाई की जा चुकी है । दहलहन की फसलों की बुवाई ६१.५५ फीसदी हुई है । जिसमें अरहर की ७०.६०, मूंग ५५.८९, मौठ ३६.८५, उदड़ ५३.७१ तथा अन्य दहन २२.१३ फीसदी हुई है । राज्य में कुल ३५६७७६ हेक्टेयर जमीन में दलहन की बुवाई संपन्न हो चुकी है । तिलहन की फसलों की ८६.४३ फीसदी बुवाई हुई है । जिसमें मूंगफली की ९७.८३, तिल ६९.८१, अरंडी को ६१.३७, सोयाबीन की ७२.९८ तथा अन्य तिलहन की ८३.७५ फीसदी बुवाई हुई है । जबकि कपास, तम्बाकू, सब्जी समेत अन्य फसलों की ९२.९४ फीसदी बुवाई पुरी हो चुकी है ।