उत्तर कोरिया ने तमाम चेतावनियों को दरकिनार करते हुए शुक्रवार को एक और मिसाइल दागी, जो उत्तरी जापान के उपर से होते हुए प्रशांत महासागर में जा गिरी । सीएनएन के मुताबिक, उत्तर कोरिया ने एक महीने से भी कम समय में जापान के उपर से दुसरी मिसाइल दागी है । उसकी इस कार्रवाई पर एशिया में तनाव बढ़ सकता है । इसका साफ संकेत जापान की और से आने वाली प्रतिक्रिया में देखने को मिला । उत्तर कोरिया की इस कार्रवाई को जापान ने भड़काने वाली बताया है । जापान के प्रधानमंत्री शिंजो आबे ने साफ साफ कहा है कि अब समय आ गया है कि उत्तर कोरिया को पुरा विश्व समुदाय मिलकर सबक सिखाए । आबे ने कहा उत्तर कोरिया के इस खतरनाक उकसावे वाले कृत्य के बाद अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को एकजुट होकर स्पष्ट संदेश देने की जरुरत है । उन्होंने कहा, हमें उत्तर कोरिया को एकजुट होकर स्पष्ट संदेश देने की जरुरत है । उन्होंने कहा, हमें उत्तर कोरिया को यह बताना होगा कि यदि वह इस तरह की हरकते करता रहा तो उसका कोई भविष्य नहीं होगा । जापान सरकार ने अलर्ट जारी कर लोगो को मिसाइल के मलबे जैसी हर तरह की संदिग्ध वस्तु से दुर रहने की सलाह दी । उत्तर कोरिया ने इससे पहले बुधवार को चेतावनी दी थी कि जापान के चारों द्धीपों को परमाणु बम से समुद्र में डुबा देना चाहिए । जापान और अमेरिका ने संयुक्त राष्ट्र से शुक्रवार दोपहर तीन बजे इस मुद्दे पर विचार विमर्श करने के लिए चर्चा करने का आग्रह किया । मिसाइल दागे जाने के बाद दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति कार्यालय ने तुरंत राष्ट्रीय सुरक्ष परिषद की बैठक बुलाई । उत्तर कोरिया फरवरी २०१७ के बाद से अब तक १४ परीक्षणो के दौरान २१ मिसाइले दाग चुका है । वह हर परीक्षण के साथ अपनी मिसाइल प्रोद्योगिकी को बेहतर बना रहा है ।