वोटरफ्रन्ट रियल्टी में अदाणी ग्रुप को लाभ कराने के लिए गुजरात सरकार द्वारा कम चार्ज वसूले जा रहे होने का गंभीर आरोप लगाती पीआईएल गुजरात हाईकोर्ट में दाखिल हुई है । जिसकी सुनवाई में हाईकोर्ट ने राज्य सरकार, मुंद्रा पोर्ट स्पेश्यल इकोनोमिक जोन लिमिटेड, गुजरात मेरिटाइम बोर्ड सहित के पक्षकारों को नोटिस जारी किया गया है । हाईकोर्ट ने इस मामले में संबंधित पक्षकारों को जवाब पेश करने का निर्देश दिया गया है । पीआईएल में यह आरोप पेश किया गया है कि, वोटरफ्रन्ट रोयल्टी में सरकार द्वारा अदाणी ग्रुप को लाभ कराने के उद्देश्य से कम चार्ज वसूल किया जा रहा है, जिसके कारण सरकार की तिजोरी को हर वर्ष हजारों करोड़ का नुकसान हो रहा है । खुद केग के रिपोर्ट में भी यह समग्र मामले को उल्लेख किया गया है फिर भी सरकार के सत्ताधीश इस प्रकरण में मौन बनकर बैठे है । सिर्फ एक ग्रुप को लाभ कराने के लिए सरकार हर वर्ष रुपये की आय गंवा रही है और आखिर में राज्य का गंभीर नुकसान हो रहा है । अर्जीकर्तापक्ष की तरफ से यह समग्र मामले में न्यायिक जांच कराने की और सरकार के सत्ताधीशों को जरूरी आदेश करने सहित की पीआईएल की गई थी ।