वित्त मंत्रालय ने बताया कि मई 2020 से अब तक के 7 महीनों में केंद्रीय एजेंसियों और सेंट्रल पब्लिक सेक्टर एंटरप्राइजेज की ओर से माइक्रो, स्मॉल एंड मीडियम एंटरप्राइजेज (MSMEs) को 21,000 करोड़ रुपए के बकाए का भुगतान किया जा चुका है। अक्टूबर 2020 में एमएसएमई से सबसे ज्यादा 5,100 करोड़ रुपए की खरीदारी की गई और उन्हें 4,100 करोड़ रुपए का भुगतान कर दिया गया।
वित्त मंत्रालय ने बताया कि अभी तक उसके पास नवंबर 2020 में शुरुआती 10 दिन में हुई खरीदारी के आंकड़े उपलब्ध हैं। इस दौरान एमएसएमई से 4,700 करोड़ रुपए की खरीदारी की गई और 4,000 करोड़ का भुगतान कर दिया गया है। मंत्रालय का कहना है कि अगर इसी तरह एमएसएमई से खरीदारी की जाती रही तो ये पिछले सभी रिकॉर्ड तोड़ देगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आत्मनिर्भर भारत पैकेज की मई 2020 में घोषणा करते हुए कहा था कि एमएसएमई का बकाया 45 दिन के भीतर चुका दिया जाना चाहिए। उन्होंने एमएसएमई मंत्रालय के भुगतान की समीक्षा के दौरान संतोष जताया। वित्त मंत्री सीतारमण ने तीन आत्मनिर्भर भारत पैकेज के तहत विभिन्न योजनाओं की प्रगति की समीक्षा की। वित्त मंत्रालय ने रविवार को बताया कि बैंकों ने एमएमएमई के लिए तीन लाख करोड़ रुपए की आपात कर्ज सुविधा गारंटी योजना (ECLGS) के तहत करीब 81 लाख खातों को 2,05,563 करोड़ रुपए का कर्ज मंजूर किया है। करीब 40 लाख एमएसएमई खातों को 4 दिसंबर तक 1,58,626 करोड़ रुपए का कर्ज मिल चुका है।
પાછલી પોસ્ટ
આગળની પોસ્ટ