हते है कि फिल्में समाज का आईना होती है, लेकिन कई बार उनसे लोग इस कदर प्रभावित होते हैं कि उन्हें जिंदगी में लागू करने लगते हैं । ऐसा ही कुछ अहमदाबाद में देखने को मिला जहां अडिशनल चीफ मेट्रोपॉलिटन मैजिस्ट्रेट ने एक पुलिसवाले से बॉलिवुड फिल्म सिंघम के लीड हिरो सिंघम की मिसाल देते हुए सीख लेने के लिए कहा । दरअसल, शराबबंदी के एक मामले में आरोपी चेतन शर्मा पर केस की सुनवाई सोमवार को चल रही थी । बचाव पक्ष के वकील ने कहा कि शर्मा को इसलिए फंसाया गया है क्योंकि उनके परिवार ने शराब बेचने वालो के खिलाफ रैली की थी । शर्मा के खिलाफ फरवरी में शिकायत दर्ज की गई थी । पुलिस को उन्हें फौरन गिरफ्तार करने के लिए कोई वजह नहीं मिली । न्यायिक अधिकारी ने पीएसआई से पूछा कि आरोपी को पहले क्यों गिरफ्तार नहीं किया गया तो पीएसआई देसाई ने कहा कि डीसीपी ने बिना जांच ऐक्शन न लेने के लिए कहा था । इस पर जज ने कहा, इन्हें सिंघम फिल्म दिखाइए ताकि यह उसके जैसे अफसर बन सकें । क्या आपने नहीं देखा कि पुलिसवाला अपने सीनियर के एक आरोपी को छोड़ देने के आदेश के मामने से इनकार कर देता है । उसके जैसे अफसर बनिए । पुलिस ने शर्मा को रिमांड पर लेने की पुलिस की याचिका खारिज कर दी और कहा, इन्हें फिल्म की सीडी दें और देखें कि वह अच्छी क्वॉलिटी की हो । खर्चर् में उठाऊंगा । कोर्ट ने मंगलवार को शर्मा को बेल पर रिहा कर दिया गया ।
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